मुंबई: माइक्रोसॉफ्ट के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) सत्य नडेला ने भारतीय उद्योग जगत के दिग्गजों से समावेशी प्रौद्योगिकी क्षमता का निर्माण करने को कहा है।

तीन दिन की भारत यात्रा पर आए नडेला ने सोमवार को माइक्रोसॉफ्ट के ‘फ्यूचर डीकोडेड सीईओ सम्मेलन’ को संबोधित करते हुए कहा, ‘‘भारतीय मुख्य कार्यकारी अधिकारियों को अपनी प्रौद्योगिकी क्षमता विकसित करनी चाहिए। साथ ही उन्हें यह सुनिश्चित करना चाहिए कि समाधान समावेशी हों।’’

उन्होंने कहा कि पिछले दशक के दौरान ‘एग्रीगेटर’ उभरे हैं, लेकिन यह काफी नहीं है। नडेला ने कहा कि हमें यह सुनिश्चित करना होगा कि डिजिटल बदलाव उत्पादकता बढ़ाने वाला हो।

उन्होंने कहा कि भारत में 72 प्रतिशत सॉफ्टवेयर इंजीनियरों की नौकरियों प्रौद्योगिकी उद्योग से बाहर हैं। इसी कार्यक्रम को संबोधित करते हुए टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (टीसीएस) के मुख्य कार्यकारी अधिकारी एवं प्रबंध निदेशक राजेश गोपीनाथन ने कहा कि प्रौद्योगिकी में बदलाव के लिए कंपनी आंतरिक प्रतिभाओं को प्रशिक्षित करने को प्राथमिकता देती है। उन्होंने कहा कि कंपनी में हमारा प्रयास होता है कि अच्छी प्रतिभाओं को रोका जाए और इसके लिए हमें बाहर से लोग नहीं ढूंढने पड़ें।